विकास शर्मा
लखनऊ, सीएमएस में चल रही अंतर्राष्ट्रीय बाल फिल्म महोत्सव के चेयरमैन और सीएमएस के संस्थापक शिक्षाविद जगदीश गांधी ने सीएमएस कानपुर रोड ऑडिटोरियम में अंतर्राष्ट्रीय बाल फिल्म देखने पहुंचे 15,000 से अधिक बच्चों के उत्साह को देखते हुए कहा कि बाल फिल्में केवल शहर में ही नहीं बल्कि पूरे देश में बच्चों में अच्छे संस्कार और रचनात्मकता का संचार कर रही हैं।
इस मौके पर टीवी एवं फिल्म अभिनेत्री निशिगंधा वाड ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि सीएमएस का अंतर्राष्ट्रीय बाल फिल्म महोत्सव विद्यालय का एक सार्थक प्रयास है और अच्छी फिल्में बच्चों को अच्छा इंसान बनाती हैं।
अंतर्राष्ट्रीय बाल फिल्म महोत्सव के दूसरे दिन बाल फिल्म देखने पहुंचे विभिन्न विद्यालयों के 15,000 से अधिक बच्चे और उनके अभिभावक सीएमएस के इस प्रयास से अभिभूत होते दिखे। बच्चों सहित अभिभावकों का कहना था की इन फिल्मों से बच्चों के बालमन का रचनात्मक विकास होता है साथ ही उन्हें मंचन और कला के प्रदर्शन को समझने का मौका भी मिलता है।
अंतरराष्ट्रीय बाल फिल्म महोत्सव का आज दूसरा दिन था सिटी मोंटेसरी स्कूल कानपुर रोड की शाखा में नौ दिवसीय फिल्म फेस्टिवल चल रहा है दूसरे दिन को देखते हुए कहा जा सकता है कि विद्यालय का यह सफल प्रयास है और बाकी दिनों में भी बच्चों सहित अभिभावकों की भीड़ बढ़ सकती है।
महोत्सव के दूसरे दिन बच्चों ने ए गिफ्ट, ए पैर आफ शूज फॉर आवर टीचर जस्ट बीइंग ह्यूमन लिटिल फॉरेस्ट फेयरवेल फॉर टुडे गेटिंग आउट आफ जीरो स्कोर कम कम रेन ,माई नेबर्स ड्रेस, टीचर्स लेन, अर्थ इज होम, स्टोरी बाई वाइंड, क्या देखे हम, लेट्स मेक पीस, पुल द बियर फ़ैमिली डिनर और भस्मासुर इत्यादि दो दर्जनों से ज्यादा शैक्षिक फिल्में देखकर नैतिक शिक्षा प्राप्त की।
इस मौके पर फिल्म फेस्टिवल के डायरेक्टर आरके सिंह ने कहा कि इस तरह के अंतरराष्ट्रीय बाल फिल्म महोत्सव सीएमएस में पूरी तरह से बच्चों और अभिभावकों के लिए निशुल्क है और यहां पर सभी लोग इन फिल्मों को देखने के लिए सादर आमंत्रित हैं।