Peeyoosh Mayank
चंपावत के उपचुनाव में मिली ऐतिहासिक जीत के बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का विजय जुलूस देहरादून में निकाला गया जुलूस में भारी भीड़ पुष्कर सिंह धामी को बधाई देने के लिए उमड़ी, मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि वह जीवन भर चंपावत की धरती और वहां के लोगों के प्रति अपना प्यार निभाएंगे उन्होंने जनता का आभार जताते हुए उनकी उम्मीदों पर खरा उतरने का विश्वास जताया उन्होंने जनता को अपना संदेश काव्य अंदाज में देते हुए कहा कि “जो दिया है प्रेम मुझको उसे भुला ना पाऊंगा जीवन भर चंपावत की धरती से अपना प्यार निभाऊंगा”
मुख्यमंत्री धामी ने सबसे पहले गुरुद्वारा नानक साहिब में जाकर पूजा अर्चना की और लोगों का आशीर्वाद लेते हुए गुरुद्वारा कमेटी से भेंट स्वरूप स्मृति चिन्ह ग्रहण किया इसके बाद उनका काफिला विजय जुलूस में बदल कर परेड ग्राउंड से शुरू होता हुआ विभिन्न मार्गो से निकला जहां पर जन समुदाय ने उन पर पुष्प वर्षा करते हुए अभिवादन किया।
एतिहासिक जीत
55025 वोट हासिल करके
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भारतीय चुनाव इतिहास में एक नया रिकॉर्ड कायम किया है प्रतिशत मत हासिल करके उन्होंने लोकतंत्र के अभूतपूर्व विजय नायक का तमगा प्राप्त कर लिया है।
उपचुनाव में विपक्ष का किला ढहा
वरिष्ठ पत्रकार
पवन लालचंद* जी की फेस बुक वाॅल से
ये निर्मला गहतोड़ी की नहीं बल्कि हरदा, प्रीतम, आर्य और माहरा की जमानत जब्ती की तस्दीक होगी
कांग्रेस के घाघ नेताओं ने अंजाम जानते हुए ठीक ही अपनी गर्दन बचाकर महिला नेता को बहुत बड़ी हार के लिए चम्पावत में मुख्यमंत्री धामी के सामने झोंक दिया। इस तरह मठाधीश नेता शर्मनाक हार से भी बच गए और महिला सशक्तिकरण को लेकर पार्टी की नियत और प्रतिबद्धता का झण्डा बुलंद हो गया।
चंपावत उपचुनाव निष्कर्ष
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चंपावत विधानसभा की सीट अपने निकटतम प्रतिद्वंदी कांग्रेसी उम्मीदवार निर्मला गहतोड़ी को 55025 वोटों से हराया है लेकिन समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार मनोज कुमार भट्ट को 413 लोगों ने पसंद किया है समाजवादी पार्टी उत्तर प्रदेश में 111 सीटों पर काबिज है और उनके नेता पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव उत्तर प्रदेश विधानसभा नेता प्रतिपक्ष की भूमिका में अपनी जिम्मेदारी बखूबी निभा रहे हैं उन्होंने मनोज कुमार भट्ट को पुष्कर सिंह धामी के खिलाफ चुनाव लड़ने के लिए क्यों मैदान में उतारा यह सियासी गणित समझ से परे है सिर्फ 413 वोट पाकर उत्तराखंड की जनता को समाजवाद के बारे में क्या संदेश दिए हैं? समाजवादी पार्टी का तर्क हो सकता है कि सच्चा समाजवादी हमेशा लड़ता है और लड़ता रहेगा! तो ऐसी लड़ाई कब तक लड़ी जाएगी यह बहुत बड़ा यक्ष प्रश्न है? उत्तराखंड में समाजवादी पार्टी कितनी मजबूत है इसका अंदाजा उपचुनाव के प्रदर्शन से लगाया जा सकता है! समाजवादी पार्टी उम्मीदवार मनोज कुमार भट्ट से निर्दलीय उम्मीदवार हिमांशु मात्र 11 वोट से पीछे रहे ,इन परिणामों ने इस उपचुनाव में एक नए वोट शास्त्र को जन्म दिया है.