उत्तराखंड के जंगलों की आग:गर्मी के बढ़ते ही उत्तराखंड के जंगलों की आग का प्रकोप जारी है,बीते इतवार को गढ़वाल से लेकर कुमाऊं तक जंगलों में आठ जगह आग सुलग उठी,उत्तराखंड के जंगलों की आग,वनकर्मी बुझा रहें दिन रात। नैनीताल वन प्रभाग की मनोरा रेंज और बडोन रेंज में वार्म कर्मचारियों के साथ राष्ट्रीय आपदा बल को भी आग बुझाने के लिए लगाया गया है।
उत्तराखंड के जंगलों की आग ,वन कर्मचारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ रही है
जंगल की आग इतनी भीषण लगी है कि इसको बुझाने के लिए वन कर्मचारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ रही है क्योंकि गढ़वाल से लेकर कुमाऊं तक में आठ स्थानों पर आज से जंगल धड़क रहे हैं अपर प्रमुख वन संरक्षक निशांत वर्मा ने बताया कि नैनीताल वन विभाग की बडोन और मनोरा रेंज में कर्मचारियों के साथ एनडीआरएफ की टीम भी लगाई गई है उन्होंने कहा कि गढ़वाल में वनाग्नि की दो और कुमाऊं में चार स्थानों पर जंगलों में आग लगी है जबकि दो स्थानों पर वन्यजीवों का क्षेत्र है केदारनाथ वन्य जीव प्रभाव के आरक्षित वन क्षेत्र में आग की दो घटनाओं से चार हेक्टेयर से ज्यादा क्षेत्रफल में वन संपदा को भारी क्षति हुई है।
राज्य में वनाग्नि की 220 घटनाएं गढ़वाल और 333 घटनाएं कुमायूं मंडल में हुई है जबकि 53 स्थान वन्य जीव क्षेत्र में आते हैं इस प्रकार उत्तराखंड में अभी तक वनाग्नि की घटनाएं कल 606 हो गई है जिसमें वन क्षेत्र का 735 हैकटेयर वन क्षेत्र आज की चपेट में आग की चपेट में आ गया है।
निशांत वर्मा अपर प्रमुख वन संरक्षक ने बताया कि अभी तक टिहरी में 20 और उत्तरकाशी वन प्रभाग में 13 अज्ञात लोगों के खिलाफ वनाग्नि के संबंध में मुकदमा दर्ज किया गया है जिसमें टोटल मुकदमे 196 है साथ ही 29 लोगों को नाम और 173 अज्ञात के खिलाफ दर्ज हैं। निशांत वर्मा ने कहा कि जहां पर भी आग की सूचना मिल रही है वहां तत्काल टीम को भेज पर आग पर नियंत्रण पाने की कोशिश की जा रही है।
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